यार सुबह सुबह दिमाग का दही हो गया। नयी बात है कि अमरीकी राष्ट्रपति बराक ओबामा महोदय पुणे में हुए हालिया विस्फ़ोट मे दिलचस्पी ले रहे हैं और भारत की इस विषय पर मदद करना चाहते हैं। ओबामा महोदय चाहते हैं कि उनके देश की गुप्तचर संस्था की मदद इस मामले को सुलझाने के लिये ले ली जाए। सारी दुनिया जान गयी है कि भारत में मुंबई हमलों का एक मास्टर माइंड डेविड हेडली(जो कि दर असल दाउद जिलानी है, पाकिस्तान का रहने वाला है जिसे ये हेडली नाम अमेरिकी संस्था एफ़।बी।आई। ने ही दिया है) को अपने पंखों में आश्रय देने वाला अमेरिका भारत और बाकी देशों के लिये कितना मददगार है। ओबामा अंकल से तो मदद के लिये दलाई लामा भी कह रहे हैं लेकिन उनकी मदद नहीं करेंगे, सूरमा भोपाली स्टायल में खांमखां ही हमारी मदद पर आतुर हुए पड़े हैं ताकि हेडली जैसे बाकी बचे आतंकियों को भी भारत से सुरक्षित निकाल कर अपने पंखों में छिपा लें।
और यार वैसे भी अगर आतंकी पकड़ में आ भी जाते हैं तो हमारे देश की न्याय व्यवस्था उसे दामाद बना कर रखती है ओबामा अंकल को चाहिए कि वे हेडली को भारत को सौंप दें फिर देखें कि हमारी सरकार उसकी कैसी खातिरदारी करती है जैसे कसाब की कर रही है।
जय जय भड़ास
3 comments:
sahi kaha aapne....
uski niyat to yahi hai ki kese bhi karke yahan chhupe atankiyo ko nikaal lage aur apne kisi mission me shamil kar le jese Osama ko kiya hai....
ye bhi sahi hai humari sarkaar pakad ke bhi atankiyo ka kuchh nahi karti fir kandhaar jese hadse hote hai....
good... superb
nice
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