ह्रदय रोग में कोलेस्ट्रोल के अलावा अन्य चर्बी की भूमिका की संभावना !!


एक अध्ययन के अनुसार दिल की बीमारियों में कोलैस्टरौल से अलग खून में पाए जाने वाली एक अन्य चर्बी की भूमिका  की संभावना।       
केम्ब्रिज विश्वविद्यालय के अनुसंधानकर्ताओं ने ट्राइग्लिसराइड्स की भूमिका पर शोध किया. ये हमारे जिगर में पैदा होती है और मांस और दूध से बने उत्पादों से निकलती है.
अतीत में हुए 101 अध्ययनों में जिन 350,000 लोगों पर शोध किया गया उनके आंकड़ो का विश्लेषण करके पाया गया कि जिन लोगों के ख़ून में चर्बी का स्तर अधिक था उनमें दिल की बीमारी होने की संभावना भी अधिक दिखाई दी.
लेकिन विशेषज्ञों का कहना है कि इस दिशा में अभी और खोज करने की ज़रूरत है.
चिकित्सा मामलों की पत्रिका लैंसेट ने कहा कि यह विश्लेषण एक निश्चित जीन पर केंद्रित था जो ट्राइग्लिसराइड्स के स्तर को प्रभावित करता है.
इससे पहले भी इस दिशा में शोध हुए हैं लेकिन वो अनिर्णायक रहे. लेकिन इस नवीनतम शोध से पता चलता है कि जिन लोगों में यह जीन मौजूद था उनमें हृदय रोग का ख़तरा 18 प्रतिशत अधिक था.
इस अध्ययन का नेतृत्व कर रहे डॉ नदीम सरवर ने बताया कि यह शोध यह संकेत देता है कि ख़ून में पाई जाने वाली चर्बी किसी न किसी रूप में हृदय रोग पैदा कर रही है.
लेकिन ख़ून में चर्बी के स्तर को कम करने पर और अध्ययन करने की आवश्यकता है जिससे इस संदेह की पुष्टि हो सके.
डॉ सरवर ने कहा, "ऐसे प्रयोगों से यह सुनिश्चित करना संभव होगा कि ट्राइग्लिसराइड्स का स्तर घटाने से हृदय रोग का ख़तरा कम होता है या नहीं".
ब्रिटिश हार्ट फ़ाउंडेशन के माइक नेपटन ने कहा, "यह शोध हृदय रोगों से निपटने में एक महत्वपूर्ण क़दम साबित हो सकता है लेकिन हमें जल्दबाज़ी में किसी नतीज पर नहीं पहुंचना चाहिए".
ट्राइग्लिसराइड्स के स्तर को कम करने से हृदय रोग का ख़तरा कम होता है या नहीं यह जानने के लिए अभी और बड़े पैमाने पर प्रयोग करने की ज़रूरत है.
कैनेडा के मैक्मास्टर विश्वविद्यालत की डॉ सोनिया आनंद कहती हैं, "फ़िलहाल लोगों को आहार, व्यायाम और धूम्रपान न करने की सलाह पर अमल करते रहना चाहिए जिससे हृदय रोग के ख़तरे से बच सकें"

3 comments:

Mithilesh dubey said...

बहुत ही अच्छी व उपयोगी जानकरीं दी है आपने ।

सुनील दत्त said...

उपयोगी जानकारी के लिए धन्यावाद। साथी आपके पाठकों के लिए एक और जानकारी
सब रोगों से बचाब का सबसे बढ़िया रास्ता है बाबा रामदेब जी का योग प्रतिदिन बिना नागा के

डॉ टी एस दराल said...

लिपिड्स में एल डी एल और ट्राइग्लिसराइड्स कोलेस्ट्रोल के ऐसे कम्पोनेंट्स हैं जो हृदयाघात को बढ़ावा देते हैं । दूसरी तरफ एच डी एल ऐसा कोलेस्ट्रोल है जो हृदयाघात से बचाता है । इसलिए रक्त में एच डी एल की मात्रा ज्यादा होनी चाहिए और यह व्यायाम से बढ़ता है।

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